माँ सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti)

माँ सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti) “ओम जय सिद्धिदात्री ” माँ दुर्गा की पूजा के दौरान चांदी की थाली पर दीपक और प्रार्थना के साथ गाई जाती है। यह आरती दुर्गा माँ के विभिन्न रूपों की महिमा का गुणगान करती है और माँ सिद्धिदात्री की कृपा और आशीर्वाद की प्राप्ति के लिए प्रार्थना करते है। सिद्धिदात्री माँ विशेष रूप से सिद्धियों और आशीर्वाद देने वाली माँ मानी जाती हैं, इसलिए उनकी पूजा और आरती का विशेष महत्व होता है। इनकी पूजा नवरात्री के पर्व पर नवमीं के दिन की जाती है

माँ सिद्धिदात्री आरती के लाभ (Maa Siddhidatri Aarti Benefits)

  1. आशीर्वाद की प्राप्ति:
    माँ सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti) को पढ़ने से माँ के आशीर्वाद की प्राप्ति होती है, और माँ सिद्धिदात्री की कृपा को प्राप्त करते हैं।
  2. मन की शुद्धि: 
    मां सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti) के नियमित पाठ से मन की शुद्धि होती है। और यह भक्तों को अज्ञानता और पाप से मुक्त करने में मदद करती है।
  3. शक्ति और ज्ञान की प्राप्ति: 
    मां सिद्धिदात्री को सिद्धियों की दाता कहा जाता है। माँ सिद्धिदात्री आरती का पाठ करने से भक्तों को शक्ति और ज्ञान की प्राप्ति होती है। इससे उन्हें जीवन में सफलता और सुख-समृद्धि प्राप्त होती है।
  4. कष्टों से मुक्ति: 
    मां सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti) का पाठ करने से भक्तों के जीवन के कष्ट दूर हो जाते हैं। इससे उन्हें शांति और सुकून मिलता है।

माँ सिद्धिदात्री आरती का वीडियो (Maa Siddhidatri Aarti Benefits)

माँ सिद्धिदात्री आरती लिरिक्स हिंदी में (Maa Siddhidatri Aarti Lyrics In Hindi)

जय सिद्धिदात्री ,
ओम जय सिद्धिदात्री ।
सर्व सुखो की जननी ,
रिद्धि सिद्धिदात्री ।।

ओम जय सिद्धिदात्री ।।

अनिमा गरिमा लघिमा ,
सिद्धि तिहारी हाथ ।
तू अविचल महामाई ,
त्रिलोकी की नाथ ।।

ओम जय सिद्धिदात्री ।।

शुम्भ निशुम्भ विडारे ,
जग है प्रसिद्ध गाथा ।
शास्त्र भुजा यानि धरक ,
चक्र लियो हाथा ।।

ओम जय सिद्धिदात्री ।।

तेरी दया बिन रिद्धि ,
सिद्धि न हो पाती ।
सुख समृद्धि देती ,
तेरी दया पाती ।।

ओम जय सिद्धिदात्री ।।

दुःख दरिद्र विनाशिनी ,
दोष सभी हरना ।
दुर्गुणों को संघारके ,
पावन माँ करना ।।

ओम जय सिद्धिदात्री ।।

नवदुर्गो में मैया ,
नवम तेरा स्थान ।
नौवे नवरात्रे को ,
करे सब ध्यान ।।

ओम जय सिद्धिदात्री ।।

तुम ही जग की माता ,
तुम ही हो भरता ।
भक्तो की दुःख हरता ,
सुख संपत्ति करता ।।

ओम जय सिद्धिदात्री ।।

अगर कपूर की ज्योति ,
आरती तुम गाये ।
छोड़ के तेरा द्वार ,
और कहा जाये ।।

ओम जय सिद्धिदात्री ।।

सिद्धिदात्री माता ,
सब दुर्गुण हरना ।
अपना जान के मैया ,
हमपे कृपा करना ।।

ओम जय सिद्धिदात्री ।।

जय सिद्धिदात्री ,
ओम जय सिद्धिदात्री ।
सर्व सुखो की जननी ,
रिद्धि सिद्धिदात्री ।।

ओम जय सिद्धिदात्री ।।

माँ सिद्धिदात्री आरती लिरिक्स अंग्रेजी में (Maa Siddhidatri Aarti Lyrics In English)

jay siddhidaatrii ,
om jay siddhidaatrii .
sarv sukho kii jananii ,
riddhi siddhidaatrii ..

om jay siddhidaatrii ..

animaa garimaa laghimaa ,
siddhi tihaarii haath .
tuu avichal mahaamaaii ,
trilokii kii naath ..

om jay siddhidaatrii ..

shumbh nishumbh viḍaare ,
jag hai prasiddh gaathaa .
shaastr bhujaa yaani dharak ,
chakr liyo haathaa ..

om jay siddhidaatrii ..

terii dayaa bin riddhi ,
siddhi n ho paatii .
sukh samṛddhi detii ,
terii dayaa paatii ..

om jay siddhidaatrii ..

duahkh daridr vinaashinii ,
dosh sabhii haranaa .
durguṇon ko sanghaarake ,
paavan maan karanaa ..

om jay siddhidaatrii ..

navadurgo men maiyaa ,
navam teraa sthaan .
nowve navaraatre ko ,
kare sab dhyaan ..

om jay siddhidaatrii ..

tum hii jag kii maataa ,
tum hii ho bharataa .
bhakto kii duahkh harataa ,
sukh sampatti karataa ..

om jay siddhidaatrii ..

agar kapuur kii jyoti ,
aaratii tum gaaye .
chhod ke teraa dvaar ,
owr kahaa jaaye ..

om jay siddhidaatrii ..

siddhidaatrii maataa ,
sab durguṇ haranaa .
apanaa jaan ke maiyaa ,
hamape kṛpaa karanaa ..

om jay siddhidaatrii ..

jay siddhidaatrii ,
om jay siddhidaatrii .
sarv sukho kii jananii ,
riddhi siddhidaatrii ..

om jay siddhidaatrii ..

माँ सिद्धिदात्री आरती लिरिक्स पीडीएफ (Maa Siddhidatri Aarti Lyrics PDF )


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माँ सिद्धिदात्री आरती से जुड़े कुछ प्रश्न (Maa Siddhidatri Aarti FAQ )

माँ सिद्धिदात्री की आरती कब और कैसे की जाती है?

माँ सिद्धिदात्री की आरती नवरात्रि के आखिरी दिन, यानी नवमी तिथि को की जाती है. यह आरती ब्राह्मणों या पंडितों के द्वारा शुरू की जाती है और उसके बाद भक्तों द्वारा गाई जाती है. आरती के दौरान, चांदी की थाली पर दीपक और कुमकुम के चंदन का तिलक लगाया जाता है, और फिर आरती का प्रदर्शन किया जाता है.

माँ सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti) के बोल क्या हैं?

माँ सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti) के बोल माँ के गुणगान और महिमा को व्यक्त करते हैं और उनकी कृपा और आशीर्वाद की प्राप्ति के लिए प्रार्थना करते हैं.

माँ सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti) के क्या महत्व हैं?

माँ सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti) का महत्व इस माँ के विशेष रूप को मनाने और उनके आशीर्वाद की प्राप्ति के लिए होता है. यह आरती भक्तों को उनकी आशीर्वाद का अवसर प्रदान करती है और सिद्धियों की प्राप्ति में मदद करती है

क्या आरती के दौरान किसी विशेष व्रत या उपवास का पालन करना चाहिए?

धार्मिक दृष्टि से, आपको माँ सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti) के दौरान निरंतर व्रत या उपवास का पालन करने की आवश्यकता नहीं है, लेकिन यह आपके आराधना को और अधिक महत्वपूर्ण बना सकता है। कुछ भक्त नवरात्रि के दौरान व्रत रखते हैं, जिसमें वे सात्विक आहार खाते हैं और

क्या माँ सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti) को दूसरे समय भी गा सकते हैं?

माँ सिद्धिदात्री आरती (Maa Siddhidatri Aarti) को किसी भी समय गा सकते हैं

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इस पोस्ट में लिखी गयी सारी जानकारियां धार्मिक और सामाजिक मान्यताओं पर आधारित है, कृपया इसे विशेषग्य की सलाह न समझे एवं poojaaarti.com किसी भी जानकारी की पुष्टि नहीं करता है और किसी भी आरती, भजन या कथा को करवाने की विधियों के लिए अपने नजदीकी विशेषग्य की राय ले। 

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Updated on May 11, 2024